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लखपति दीदी दिव्या निषाद को मिला गणत्रंत दिवस पर राष्ट्रपति भवन में जाने का मौका

छत्तीसगढ़ रायपुर।
कहते है जीवन में एक बार हर किसी की किस्मत करवट बदलती है और उसके बाद फिर उसे कभी पीछे मुड़ कर देखना नहीं पड़ता है, कुछ ऐसी तरह का बदलाव राजनांदगांव जिले के ग्राम कुसमी की लखपति दीदी दिव्या निषाद के जीवन में हुआ है जिसकी बदलौत वह 26 जनवरी 2025 को गणतंत्र दिवस के अवसर पर राष्ट्रपति भवन नई दिल्ली में आयोजित एट होम रिसेप्शन में शामिल होंगी। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु उन्हें सम्मानित करेंगी। लखपति दीदी दिव्या निषाद ने विपरीत और संघर्षपूर्ण स्थिति में भी हार नहीं मानी और राष्ट्रीय आजीविका मिशन बिहान से जुड़कर सफलता की नई ईबारत लिखी है। दिव्या निषाद ने खुशी जाहिर करते हुए कहा कि यह सम्मान कि बात है कि लखपति दीदी के तौर पर राष्ट्रपति भवन जाने का अवसर मिल रहा है। उन्होंने बताया कि यह जानकर बहुत अच्छा महसूस हो रहा है और घर में सभी खुश हैं। उल्लेखनीय है कि 26 जनवरी 2025 को गणतंत्र दिवस के अवसर पर राष्ट्रपति भवन नई दिल्ली में आयोजित एट होम रिसेप्शन के लिए देश भर से 10 लखपति दीदियों का चयन किया गया है। जिसमें से राजनांदगांव जिले से लखपति दीदी दिव्या निषाद का चयन किया गया है।

आर्थिक स्थिति अच्छी नहीं थी
लखपति दीदी दिव्या निषाद ने बताया कि उनके परिवार की आर्थिक स्थिति अच्छी नहीं थी और वर्ष 2021 में कोविड-19 की वजह से उनके पति की आकस्मिक मृत्यु हो गई। उन्होंने बताया कि गरीबी की स्थिति थी और उन्हें किसी भी तरह का अनुभव और ज्ञान नहीं था। पति की आकस्मिक मृत्यु के दुख ने परिवार को अंदर तक झकझोर दिया। ऐसे समय में अपने परिवार की जिम्मेदारी उठाने के लिए तथा अपने बच्चों के पालन-पोषण के लिए समूह की दीदियों से मुझे हिम्मत मिली और मैंने कुछ कार्य करने का निर्णय लिया।

बिहान की बदौलत मेरा घर फल-फूल रहा है
लखपति दीदी दिव्या निषाद ने बताया कि राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन बिहान से जुडऩे के बाद मेरे जीवन में परिवर्तन आया और आज बिहान की बदौलत मेरा घर फल-फूल रहा है। अंतर्मुखी स्वभाव होने के कारण बिहान से जुडऩे से आत्मविश्वास बढ़ा। प्रशिक्षण के दौरान बहुत कुछ सीखने को मिला। उन्होंने बताया कि बैंक सखी, बैंक मित्र, पुस्तक लिखने का कार्य, समूह के अध्यक्ष एवं सचिव के कार्य तथा छोटे व्यापार प्रारंभ करने का कार्य सीखने लगी। उन्होंने बताया कि वह जय मां अम्बे स्वसहायता समूह से जुड़ी हुई हैं। समूह में कार्य करने के दौरान आत्मविश्वास बढ़ा और समूह के माध्यम से ऋण लेकर छोटा सा व्यापार प्रारंभ किया।

वह बहुआयामी कार्य कर रही हैं
उन्होंने बताया कि उनकी सालाना आय 4 लाख रूपए से अधिक है और वह बहुआयामी कार्य कर रही हैं। बैंक सखी, बैंक मित्र के अलावा उनकी ग्राम भर्रेगांव में साड़ी एवं बच्चों के रेडिमेड कपड़ों की दुकान है। उन्होंने बताया कि समूह से ऋण लेकर ही उन्होंने अपने घर में ही किराने की दुकान भी प्रारंभ की है। अब उन्होंने अपना पक्के का मकान बना लिया है। आजीविका मूलक गतिविधियों से जुड़ते हुए सिलाई एवं अन्य कार्य कर रही हैं। केन्द्र शासन की लखपति दीदी योजना महत्वपूर्ण पहल है। जिसके तहत महिलाओं को आर्थिक रूप से सशक्त करने के लिए कार्य किया जा रहा है। इस योजना के तहत महिलाओं को अपना व्यवसाय प्रारंभ करने के लिए 5 लाख रूपए तक का ऋण बिना ब्याज के दिया जाता है।

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